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दुलत्ती झाड़ना अर्थ, प्रयोग (Dulatti jhadna)

परिचय: “दुलत्ती झाड़ना” एक प्रचलित हिंदी मुहावरा है जो घोड़े के दुलत्ती मारने की क्रिया से उपजा है। यह मुहावरा अक्सर उस स्थिति को व्यक्त करने के लिए प्रयोग किया जाता है जब कोई व्यक्ति किसी अन्य व्यक्ति को अपमानित करके या धोखा देकर दूर कर देता है।

अर्थ: “दुलत्ती झाड़ना” का अर्थ होता है किसी को बुरी तरह से अपमानित करना या उसके साथ धोखा करना। यह अक्सर उस परिस्थिति में प्रयोग होता है जहां किसी के साथ बुरा व्यवहार किया जाता है या उसे अपमानजनक ढंग से निकाल दिया जाता है।

प्रयोग: इस मुहावरे का प्रयोग अक्सर नकारात्मक संदर्भ में होता है जब किसी को अनुचित या असम्मानजनक तरीके से व्यवहार करते हैं।

उदाहरण:

मान लीजिए, एक कर्मचारी जो कई वर्षों से कंपनी में काम कर रहा था, अचानक बिना किसी कारण के नौकरी से निकाल दिया गया। इस स्थिति में कहा जा सकता है, “कंपनी ने कर्मचारी को दुलत्ती झाड़ दी।”

निष्कर्ष: “दुलत्ती झाड़ना” मुहावरा हमें यह सिखाता है कि जीवन में कभी-कभी लोग दूसरों के साथ अनुचित या असम्मानजनक व्यवहार करते हैं। यह मुहावरा इस बात का प्रतीक है कि अक्सर समाज में लोग अपने स्वार्थ के लिए दूसरों को ठेस पहुंचाते हैं। इसलिए, यह महत्वपूर्ण है कि हम दूसरों के साथ सम्मान और न्याय के साथ व्यवहार करें और इस तरह के नकारात्मक व्यवहार से बचें। इस मुहावरे के माध्यम से हमें यह सीखने को मिलता है कि सही और नैतिक तरीके से जीवन जीना चाहिए और दूसरों के साथ न्यायपूर्ण व्यवहार करना चाहिए।

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दुलत्ती झाड़ना मुहावरा पर कहानी:

एक छोटे से शहर में अभय नामक एक युवक रहता था। वह एक छोटी सी दुकान पर काम करता था और अपने काम के प्रति बहुत समर्पित था। एक दिन, दुकान के मालिक ने उसे बिना किसी कारण के नौकरी से निकाल दिया, जिससे अभय बहुत आहत हुआ।

अभय के दोस्तों ने जब यह सुना तो कहा, “देखो, अभय के साथ तो मालिक ने दुलत्ती झाड़ दी।” उन्होंने अभय को समझाया कि ऐसा होता रहता है और उसे हिम्मत नहीं हारनी चाहिए।

अभय ने इस घटना से सीख ली और फिर से नौकरी की तलाश शुरू की। कुछ समय बाद, उसे एक बेहतर जगह पर काम मिल गया, जहां उसकी मेहनत की सराहना की जाती थी।

अभय की कहानी हमें यह सिखाती है कि “दुलत्ती झाड़ना” जैसी स्थितियों से हमें हिम्मत नहीं हारनी चाहिए और आगे बढ़ते रहना चाहिए। जीवन में अक्सर हमें अन्यायपूर्ण और कठिन परिस्थितियों का सामना करना पड़ता है, लेकिन हमारी मेहनत और संघर्ष से हम बेहतर अवसरों की ओर बढ़ सकते हैं।

अभय की यह कहानी हमें यह भी याद दिलाती है कि किसी के साथ अन्याय या असम्मानजनक व्यवहार करने से हमेशा नकारात्मक परिणाम होते हैं। इसलिए, हमें दूसरों के साथ सम्मान और न्याय के साथ पेश आना चाहिए।

“दुलत्ती झाड़ना” की इस कहानी से हमें एक महत्वपूर्ण सबक मिलता है कि जीवन में अगर हमें कठिनाइयों का सामना करना पड़े तो हमें उनसे घबराने के बजाय, उनसे सीख लेकर आगे बढ़ना चाहिए। अंततः, हमारी मेहनत और धैर्य हमें जीवन में सफलता की ओर ले जाते हैं।

शायरी:

दुलत्ती झाड़ गए वो, टूटा दिल यहाँ,

फिर भी चलते रहे हम, बदल दिया जहाँ।

जिन्होंने दुलत्ती मारी, वो समझे न हमारी बात,

हमने चुप रह कर दिखाया, हर ठोकर में है सौगात।

दुनिया वाले दुलत्ती झाड़ें, करें न वो कोई फ़िक्र,

हम तो अपनी राह पे चलें, बने खुद अपनी तक़दीर।

जो दुलत्ती झाड़ के चले, उनको मेरा सलाम,

हमने तो हर दर्द से, बना लिया अपना काम।

ठोकरें खा कर भी चले, ना झुकाया सर कभी,

जिसने दुलत्ती झाड़ी थी, उसे भी चाहा हमने सभी।

 

दुलत्ती झाड़ना शायरी

आशा है कि आपको इस मुहावरे की समझ आ गई होगी और आप इसका सही प्रयोग कर पाएंगे।

Hindi to English Translation of दुलत्ती झाड़ना – Dulatti jhadna Idiom:

Introduction: “Dulatti jhadna” is a prevalent Hindi idiom that originates from the action of a horse kicking. This idiom is often used to describe a situation where a person humiliates or deceives someone else to get rid of them.

Meaning: The meaning of “Dulatti jhadna” is to humiliate someone badly or to deceive them. It is typically used in situations where someone is treated poorly or is dismissively removed.

Usage: This idiom is frequently used in a negative context when someone is treated unfairly or disrespectfully.

Example:

Suppose an employee who had been working in a company for many years was suddenly fired without any reason. In this situation, it can be said, “The company kicked the employee out.”

Conclusion: The idiom “Dulatti jhadna” teaches us that sometimes people treat others unfairly or disrespectfully in life. This idiom symbolizes that often in society, people hurt others for their own selfish reasons. Therefore, it is important that we treat others with respect and justice and avoid such negative behavior. This idiom teaches us that we should live life in a right and ethical way and treat others fairly.

Story of ‌‌Dulatti jhadna Idiom in English:

In a small town, there lived a young man named Abhay. He worked at a small shop and was very dedicated to his job. One day, the shop owner fired him without any reason, which deeply hurt Abhay.

When Abhay’s friends heard about this, they said, “Look, the owner really kicked Abhay out.” They explained to Abhay that such things happen and he should not lose courage.

Abhay learned from this incident and started looking for a job again. After some time, he found work at a better place where his hard work was appreciated.

Abhay’s story teaches us that in situations like “being kicked out,” we should not lose heart but keep moving forward. Often in life, we face unjust and difficult situations, but our hard work and struggle can lead us to better opportunities.

This story also reminds us that unfair or disrespectful behavior towards someone always leads to negative consequences. Therefore, we should treat others with respect and fairness.

The story of “being kicked out” gives us an important lesson that in life, if we face difficulties, we should not be intimidated by them, but learn from them and move forward. Ultimately, our hard work and patience lead us to success in life.

 

I hope this gives you a clear understanding of the proverb and how to use it correctly

FAQs:

“दुलत्ती झाड़ना” मुहावरे की उत्पत्ति कैसे हुई?

इस मुहावरे की उत्पत्ति घोड़े की आदत से हुई है, जहाँ घोड़ा अपनी दुलत्ती से लात मारकर अपनी नापसंदगी या असंतोष का इजहार करता है।

“दुलत्ती झाड़ना” मुहावरे के समानार्थी शब्द क्या हैं?

“अपमान करना”, “उपेक्षा करना”, “पीठ पीछे बुराई करना” इस मुहावरे के समानार्थी शब्द हो सकते हैं।

“दुलत्ती झाड़ना” का विपरीत क्या है?

“दुलत्ती झाड़ना” का विपरीत है सच्चाई बोलना या ईमानदारी से काम करना।

क्या यह मुहावरा केवल हिंदी में ही है?

नहीं, “दुलत्ती झाड़ना” का उपयोग अन्य भारतीय भाषाओं में भी होता है, जैसे कि उर्दू और पंजाबी।

क्या हमें “दुलत्ती झाड़ना” से कैसे बचा जा सकता है?

हमें सतर्क रहना और लोगों की बातों को समझने के लिए विश्वास नहीं करना चाहिए। इसके अलावा, हमें सावधानी से अपने कार्यों को नियंत्रित करना चाहिए।

हिंदी मुहावरों की पूरी लिस्ट एक साथ देखने के लिए यहाँ क्लिक करें

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