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छछूंदर के सर पर चमेली का तेल मुहावरा, अर्थ, प्रयोग(Chachundar ke sar par chameli ka tel)

Budhimaan.com का लोगो, मुहावरे का चित्रानुकरण, चमेली का तेल की बोतल

अर्थ: “छछूंदर के सर पर चमेली का तेल” यह मुहावरा तब प्रयोग होता है जब किसी व्यक्ति पर उसके अयोग्यता के बावजूद कोई उपकार किया जाता है, जो उसे समझ में नहीं आता। इसका अर्थ है किसी के लिए कोई उपकार या अनुग्रह करना जो वह समझ नहीं सकता या उसका मूल्य नहीं समझ सकता।

वाक्य में प्रयोग: “राम ने अपने मित्र को नई कार दी, लेकिन उसने उसकी अहमियत को नहीं समझा, जैसे छछूंदर के सर पर चमेली का तेल।”

उदाहरण: अगर किसी बच्चे को उसकी उम्र से अधिक महंगा और विशेष उपहार दिया जाए, जिसकी वह समझ नहीं सकता, तो इस स्थिति में इस मुहावरे का प्रयोग किया जा सकता है।

मौलिकता: इस मुहावरे में “छछूंदर” और “चमेली का तेल” का उल्लेख है। छछूंदर एक ऐसा प्राणी है जो अंधेरे में रहता है और उसके लिए चमेली के तेल का कोई महत्व नहीं होता। इसलिए, जब उस पर चमेली का तेल डाला जाता है, तो वह उसकी अहमियत नहीं समझ पाता।

निष्कर्ष: “छछूंदर के सर पर चमेली का तेल” मुहावरा उस स्थिति को दर्शाने के लिए प्रयोग किया जाता है जब किसी व्यक्ति को उसकी समझ और अयोग्यता के बावजूद किसी विशेष चीज़ या उपकार का लाभ पहुंचाया जाता है।

छछूंदर के सर पर चमेली का तेल मुहावरा पर कहानी:

गाँव में एक छोटी सा स्कूल था जिसमें तिलक अपनी शिक्षा प्राप्त करता था। तिलक एक सामान्य परिवार से था और वह अपने माता-पिता के साथ गाँव में रहता था। वह अध्ययन में औसत था, लेकिन उसकी सखी अंजली उससे अधिक विद्यार्थी थी।

एक दिन अंजली ने तिलक को एक अद्वितीय उपहार दिया – एक सुनहरी घड़ी। यह घड़ी उसके परिवार के पुराने समय से थी और इसमें विशेष अहमियत थी। अंजली का मानना था कि यह घड़ी तिलक को समय का महत्व सिखाएगी और वह अपनी पढ़ाई में और भी ध्यान देगा।

लेकिन तिलक ने घड़ी की अहमियत को समझा ही नहीं। उसने घड़ी को अपनी जेब में डाल लिया और अगले दिन वहीं छोड़ दिया। अंजली ने जब यह देखा, तो उसे समझ में आ गया कि तिलक के लिए वह घड़ी जैसे ‘छछूंदर के सर पर चमेली का तेल’ है। वह घड़ी की अहमियत नहीं समझ पाया।

अंजली ने तिलक से घड़ी वापस ली और उसे समझाया कि जिस तरह छछूंदर को चमेली के तेल की अहमियत समझ में नहीं आती, ठीक वैसे ही उसे भी इस घड़ी की महत्वता समझ में नहीं आई।

तिलक अंजली की बातों से प्रभावित हुआ और उसने प्रण लिया कि वह अब समय का सही मूल्य समझेगा और उसे बर्बाद नहीं होने देगा। यह कहानी हमें यह सिखाती है कि हर उपहार का महत्व होता है, लेकिन उसे समझने के लिए हमें उसकी अहमियत को पहचानना होगा।

शायरी:

छछूंदर के सर पर तेल चमेली का,

अहमियत समझे बिना सब अधूरा रह जाता।

जो समझता नहीं मौलिकता की बातें,

उसके लिए सजीव संसार में भी सब कुछ बेमानी हो जाता।

 

छछूंदर के सर पर चमेली का तेल शायरी

आशा है कि आपको इस मुहावरे की समझ आ गई होगी और आप इसका सही प्रयोग कर पाएंगे।

Hindi to English Translation of छछूंदर के सर पर चमेली का तेल – Chachundar ke sar par chameli ka tel Idiom:

Meaning: The idiom “Chachundar ke sar par chameli ka tel” is used when someone, despite their inability to understand, is bestowed with a favor. It signifies doing a favor for someone who cannot appreciate or understand its value

Usage: “Ram gave his friend a new car, but he failed to understand its importance, just like putting Chachundar ke sar par chameli ka tel.”

Example:If a young child is given a very expensive and special gift that they can’t understand the value of, this idiom can be used to describe the situation.

Origin: The idiom refers to a “mole” and “jasmine oil”. A mole is a creature that dwells in darkness, and hence, doesn’t value the essence of jasmine oil. Thus, when jasmine oil is poured onto it, the mole can’t appreciate its significance.

Conclusion: The idiom “Chachundar ke sar par chameli ka tel” illustrates situations where someone is benefitted with something special or valuable, despite their inability to recognize or appreciate its true worth.

Story of Chachundar ke sar par chameli ka tel idiom in English:

In a village, there was a small school where Tilak received his education. Tilak came from an ordinary family and lived in the village with his parents. He was an average student in studies, but his friend Anjali was more scholarly than him.

One day, Anjali gave Tilak a unique gift – a golden watch. This watch had been in her family for a long time and held special significance. Anjali believed that the watch would teach Tilak the importance of time, and he would pay more attention to his studies.

However, Tilak did not understand the significance of the watch. He put it in his pocket and left it there the next day. When Anjali saw this, she realized that for Tilak, the watch was like ‘oil of jasmine on a mole’s head.’ He couldn’t grasp its importance.

Anjali took back the watch from Tilak and explained to him that just as a mole cannot understand the value of jasmine oil, he too failed to recognize the importance of the watch.

Tilak was moved by Anjali’s words and vowed to now understand the true value of time and not waste it. This story teaches us that every gift has its significance, but to understand it, we need to recognize its importance.

 

I hope this gives you a clear understanding of the proverb and how to use it correctly

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